छत्तीसगढ़

नाबालिक बच्ची को बहला फुसला कर दुष्कर्म करने वाले आरोपी को पुलिस ने दबोचा

पत्रकार - उरेन्द्र साहू गरियाबंद | गरियाबंद जिला पुलिस ने आज एक त्वरित कार्रवाई को अंजाम दिया है। सिटी कोतवाली...

गरियाबंद ब्लॉक के सरपंचों ने थाना प्रभारी को साल व श्रीफल भेंट किया ।

पत्रकार - उरेन्द्र साहू गरियाबंद |गरियाबंद सिटी कोतवाली के थाना प्रभारी दरियो से गरियाबंद ब्लॉक के सरपंचों ने मुलाकात कर...

टाईगर रिजर्व क्षेत्र के जंगल से दुर्लभ वन्य जीव पेंगोलियन के 313 नग स्केल्स वन विभाग ने जप्त किया- इतेश सोनी ब्यूरो छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ संवाददाता इतेश सोनी मैनपुर । एन्टी पोचिंग टीम उदंती सीतानदी टायगर रिजर्व गरियाबंद के द्वारा पेट्रोलिंग के दौरान प्रकरण...

सूरज कुमार साहू ने मैनपुर एसडीएम के पदभार को ग्रहण किया

छत्तीसगढ़ संवाददाता इतेश सोनी मैनपुर:- कलेक्टर निलेश क्षीरसागर प्रशासकीय दृष्टिकोण से शासकीय कार्यों के सुचारू संपादन हेतु तहसील छूरा को...

नए पटवारी के आने से किसानों में खुशी की लहर- इतेश सोनी ब्यूरो छत्तीसगढ़

इतेश सोनी ब्यूरो गरियाबंद । नवापारा राजिम-छत्तीसगढ़ की वर्तमान कांग्रेस सरकार दिसम्बर महीने से प्रदेश में किसानों से धान खरीदी...

अपनी 9 सूत्रीय मांगो को लेकर 14 दिसम्बर से पटवारियों का अनिश्चिकालीन हड़ताल- इतेश सोनी ब्यूरो छत्तीसगढ़

इतेेेश सोनी गरियाबंद। राजस्व पटवारी संघ के जिला अध्यक्ष दानी सिह ठाकुर ने बताया कि प्रांताध्यक्ष श्री अश्वनी कुमार वर्मा...

रन विथ छत्तीसगढ़ में गरियाबंद उत्साह के साथ दौड़ा- इतेश सोनी ब्यूरो गरियाबंद

कलेक्टर सहित अधिकारी आमजन और महिलाओं ने भी लगाई दौड़ 5136 पंजीयन के साथ राज्य में तीसरे स्थान परगरियाबंद इतेश...

भुपेश सरकार की दो साल , वादाख़िलापी में बीते – चंद्रशेखर साहू

भूपेश सरकार के दो साल वादाखिलाफी में बीते : चंद्रशेखर साहू पत्रकार - उरेन्द्र साहू / गरियाबंद | छत्तीसगढ़ प्रदेश...

झाड़ फूँक के नाम पर धोखाधड़ी करने वालों के खिलाफ कि गई कार्रवाई.

बालोद–प्रार्थी रूपलाल गोरे पिता रजऊराम गोरे उम्र 36 वर्ष निवासी मरकामटोला थानाडौण्डीलोहारा जिला बालोद द्वारा रिपोर्ट दर्ज कराया गया. कि...

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” सिनेमा एंड बियांड और नुक्कड़ कैफे द्वारा आयोजित “भारतीय सिनेमा में महिला लेखिकाओं एंव निर्देशकों का योगदान – एम.एल. नत्थानी कवि,लेखक, शिक्षाविद, भारतीय सिनेमा के लगभग 100 साल के इतिहास में महिला लेखिकाओं और निर्देशकों ने अपने कल्पनाशील विचारों एंव आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही यथार्थवादी धरातल पर पुरुष पात्रों के ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” को सिनेमा के सुनहरे पर्दे पर लगभग प्रत्येक दशक में अपनी अंतर्दृष्टि से रेखांकित किया है । अतीत से वर्तमान कालखंड में अनेक महिला फिल्मकारों ने सिनेमाई रुपहले पर्दे पर पुरानी सोच के रुढ़िवादी पुरुष पात्रों को नए परिवेश में आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही मानवीय मूल्यों के प्रति संवेदनशील, बुद्धिमान होने के साथ ही अनंत गहराईयों को शिद्दत के साथ जिंदगी को जिन्दादिली के साथ जीने के लिए प्रतिबद्ध है । यह सिनेमाई पर्दे पर महिला फिल्मकारों की नई सोच और सृजन के अद्भुत हस्ताक्षर हैं । भारतीय सिनेमा के शुरूआती कालखंड में महिला फिल्मकारों में साहसी एंव प्रतिभावान फातिमा बेगम और देविका रानी उल्लेखनीय नाम हैं । समय के साथ महिला फिल्मकारों की भूमिका का चित्रण भी निरंतर बदलता रहा है । वस्तुतः सिनेमा के माध्यम से समाज में तेजी से बदलते जीवन मूल्यों को ” पुरुष पात्रों ” को महिला फिल्मकारों ने अपने आधुनिक नजरिए एंव पैनी अंतर्दृष्टि से विवधता के नए आयाम स्थापित किए हैं । महिला फिल्मकारों के सृजनशील सशक्त हस्ताक्षर :- ************************ 1 फातिमा बेगम – बुलबुल ए परिसतान 2 देविका रानी – कर्मा 3 नंदिता दास – फिराक 4 दीपा मेहता – फायर 5 अरुणा राजे – रिहाई 6 कल्पना लाजमी – रूदाली 7 अर्पणा सेन – मिस्टर एंड मिसेज अय्यर 8 मीरा नायर – मानसून वेडिंग 9 गुरविंदर चड्डा – बेंड इट लाइक बेकहम 10 अनुशा रिजवी – पीपली लाईव 11 किरण राव – धोबी घाट 12 भावना तलवार – धरम 13 रीमा कागती – तलाश 14 रेवती – मित्र माई फ्रेंड 15 मेघना गुलजार – तलवार, राजी,छपाक 16 गोरी शिंदे – इंग्लिश विंगलिश 17 जोया अख्तर – लक बाय चांस, जिंदगी ना मिलेगी दोबारा,दिल धड़कने दो 18 फराह खान – ओम शांति ओम, मैं हूं ना 19 कोंकणा सेन शर्मा – अ डेथ इन द गंज 20 लीना यादव – दि एंड निष्कर्ष :- इस तरह से भारतीय सिनेमा का इतिहास महिला फिल्मकारों के सृजनशील और सशक्तिकरण के नित नई सोच और आधुनिक दृष्टिकोंण का बदलता हुआ प्रतिबिंब है । आज महिला फिल्मकारों ने ग्लोबल स्तर पर अच्छे कंटेंट राईटर के कारण सिनेमा और ओटीटी प्लेटफार्म पर भी इस डिजिटल युग में वैश्विक पहचान बनाई है । भारतीय सिनेमा में अब पुरुषों को लेकर नए दृष्टिकोंण और वैश्विक स्तर के कंटेंट राईटर निरंतर सक्रियता के साथ महिला फिल्मकारों ने समाज में क्रांतिकारी बदलाव लाने में आधुनिक तकनीक और विज्ञान के साथ ही नए ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” की सिनेमाई छबि को परिभाषित करने में कामयाब हुए हैं । सादर ।