छत्तीसगढ़

मनवा कुर्मी का परिचय सम्मेलन 30 जून को

मनवा कुर्मी का परिचय सम्मेलन 30 जून को छतीसगढ़ मनवा कुर्मी क्षत्रिय केंद्रीय युवा एवं महिला समाज द्वारा बहुद्देश्यीय कुर्मी...

तेज रफ्तार बस ने, मासूम बच्ची को मारी ठोकर, ग्रामीणों में भारी रोष,

तेज रफ्तार बस ने, मासूम बच्ची को मारी ठोकर, ग्रामीणों में भारी रोष, राष्ट्रीय राजमार्ग मे किया चक्काजाम, बालोद,--डौंडीलोहारा थाना...

ग्राम कंवर में एक दिवसीय कबड्डीप्रतियोगिता संपन्न, प्रथम स्थान गट्टाशिल्ली, द्वितीय भिलाई और तृतीय सौराबांधा रहे,

ग्राम कंवर में एक दिवसीय कबड्डीप्रतियोगिता संपन्न, प्रथम स्थान गट्टाशिल्ली, द्वितीय भिलाई और तृतीय सौराबांधा रहे, बालोद ,जिले के गुरुर...

मुख्यमंत्री भुपेश बघेल के मैनपुर दौरे से क्षेत्र मे उत्साह – ठाकुर

मुख्यमंत्री भुपेश बघेल जी के दौरे से छेत्र मे उत्साह - ठाकुर मैनपुर के युवा कांग्रेस के नेता तनवीर सिह...

सड़क पर लेट आत्मघाती कदम उठाने की अल्टीमेटम के बाद, प्रशासनिक अधिकारियों में, हड़कंप,

सड़क पर लेट आत्मघाती कदम उठाने की अल्टीमेटम के बाद, प्रशासनिक अधिकारियों में, हड़कंप, (जिला अधिवक्ता संघ के पदाधिकारियों की...

जेसीआई रायपुर मेडिको सिटी के द्वारा पश्चिम बंगाल में डॉक्टरों के खिलाफ मारपीट के विरोध में कैंडल मार्च

आज दिनांक 17 जून 2019 सोमवार संध्या 8:30 बजे मरीन ड्राइव तेलीबांधा में कैंडल मार्च किया गया जिसमें संस्था के...

ग्राम गोपालपुर में एस.डी.ओ.पी. पुलिस राहुल देव शर्मा की उपस्थिति में रक्षा समिति की हुई बैठक ।

ग्राम गोपालपुर में एस.डी.ओ.पी. पुलिस राहुल देव शर्मा की उपस्थिति में रक्षा समिति की हुई बैठक । तीव कुमार सोनी...

भूपेश मंत्रिमंडल के द्वारा लिए गए निर्णयों को संजय नेताम ने बताया ऐतिहासिक व जन कल्याणकारी ।

भूपेश मंत्रिमंडल के द्वारा लिए गए निर्णयों को संजय नेताम ने बताया ऐतिहासिक व जन कल्याणकारी । मैनपुर। बुधवार को...

उदंती सीतानदी टाईगर रिजर्व के जंगल मे गरियाबंद पुलिस ने बरामद किया नक्सलियों के हथियार व साजो सामान – तीव कुमार सोनी

उदंती सीतानदी टाईगर रिजर्व के जंगल मे गरियाबंद पुलिस ने बरामद किया नक्सलियों के हथियार व साजो सामान - तीव...

संजय नेताम के प्रयास से मैनपुरकला वासियो को मिला हेंडपम्प की सुविधा

संजय नेताम के प्रयास से मैनपुरकला वासियो को मिला हेंडपम्प की सुविधा मैनपुर । भयंकर पेयजल के संकट से जूझ...

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” सिनेमा एंड बियांड और नुक्कड़ कैफे द्वारा आयोजित “भारतीय सिनेमा में महिला लेखिकाओं एंव निर्देशकों का योगदान – एम.एल. नत्थानी कवि,लेखक, शिक्षाविद, भारतीय सिनेमा के लगभग 100 साल के इतिहास में महिला लेखिकाओं और निर्देशकों ने अपने कल्पनाशील विचारों एंव आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही यथार्थवादी धरातल पर पुरुष पात्रों के ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” को सिनेमा के सुनहरे पर्दे पर लगभग प्रत्येक दशक में अपनी अंतर्दृष्टि से रेखांकित किया है । अतीत से वर्तमान कालखंड में अनेक महिला फिल्मकारों ने सिनेमाई रुपहले पर्दे पर पुरानी सोच के रुढ़िवादी पुरुष पात्रों को नए परिवेश में आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही मानवीय मूल्यों के प्रति संवेदनशील, बुद्धिमान होने के साथ ही अनंत गहराईयों को शिद्दत के साथ जिंदगी को जिन्दादिली के साथ जीने के लिए प्रतिबद्ध है । यह सिनेमाई पर्दे पर महिला फिल्मकारों की नई सोच और सृजन के अद्भुत हस्ताक्षर हैं । भारतीय सिनेमा के शुरूआती कालखंड में महिला फिल्मकारों में साहसी एंव प्रतिभावान फातिमा बेगम और देविका रानी उल्लेखनीय नाम हैं । समय के साथ महिला फिल्मकारों की भूमिका का चित्रण भी निरंतर बदलता रहा है । वस्तुतः सिनेमा के माध्यम से समाज में तेजी से बदलते जीवन मूल्यों को ” पुरुष पात्रों ” को महिला फिल्मकारों ने अपने आधुनिक नजरिए एंव पैनी अंतर्दृष्टि से विवधता के नए आयाम स्थापित किए हैं । महिला फिल्मकारों के सृजनशील सशक्त हस्ताक्षर :- ************************ 1 फातिमा बेगम – बुलबुल ए परिसतान 2 देविका रानी – कर्मा 3 नंदिता दास – फिराक 4 दीपा मेहता – फायर 5 अरुणा राजे – रिहाई 6 कल्पना लाजमी – रूदाली 7 अर्पणा सेन – मिस्टर एंड मिसेज अय्यर 8 मीरा नायर – मानसून वेडिंग 9 गुरविंदर चड्डा – बेंड इट लाइक बेकहम 10 अनुशा रिजवी – पीपली लाईव 11 किरण राव – धोबी घाट 12 भावना तलवार – धरम 13 रीमा कागती – तलाश 14 रेवती – मित्र माई फ्रेंड 15 मेघना गुलजार – तलवार, राजी,छपाक 16 गोरी शिंदे – इंग्लिश विंगलिश 17 जोया अख्तर – लक बाय चांस, जिंदगी ना मिलेगी दोबारा,दिल धड़कने दो 18 फराह खान – ओम शांति ओम, मैं हूं ना 19 कोंकणा सेन शर्मा – अ डेथ इन द गंज 20 लीना यादव – दि एंड निष्कर्ष :- इस तरह से भारतीय सिनेमा का इतिहास महिला फिल्मकारों के सृजनशील और सशक्तिकरण के नित नई सोच और आधुनिक दृष्टिकोंण का बदलता हुआ प्रतिबिंब है । आज महिला फिल्मकारों ने ग्लोबल स्तर पर अच्छे कंटेंट राईटर के कारण सिनेमा और ओटीटी प्लेटफार्म पर भी इस डिजिटल युग में वैश्विक पहचान बनाई है । भारतीय सिनेमा में अब पुरुषों को लेकर नए दृष्टिकोंण और वैश्विक स्तर के कंटेंट राईटर निरंतर सक्रियता के साथ महिला फिल्मकारों ने समाज में क्रांतिकारी बदलाव लाने में आधुनिक तकनीक और विज्ञान के साथ ही नए ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” की सिनेमाई छबि को परिभाषित करने में कामयाब हुए हैं । सादर ।