छत्तीसगढ़

विधायक जजपाल सिंह जज्जी को हाई कोर्ट से राहत, याचिकाकर्ता पर लगाया 50 हजार का जुर्माना

ग्वालियर अशोकनगर के भाजपा विधायक एवं पार्टी प्रत्याशी जजपाल सिंह जज्जी इस समय हार्ट अटैक के बाद दिल्ली मे उपचाररत...

विश्व कप 2026 घरेलू क्वालीफायर मैच कुवैत में खेलेगा फलस्तीन

सिडनी फुटबॉल आस्ट्रेलिया ने कहा कि उसकी टीम विश्व कप 2026 क्वालीफायर में फलस्तीन के खिलाफ दूसरे दौर का मैच...

हल्के कोहरे के साथ ठंड ने दी दस्तक, लोगों ने पहने गर्म कपड़े

जैसलमेर. शहर सहित कई गांवों में हल्का कोहरा देखने को मिला। वहीं मौसम में भी ठंडक घुली रही। रविवार से...

इतने दशकों तक झूठ बोलती रही कांग्रेस, देश की गरीबी खत्म नहीं कर पाई : नरेंद्र मोदी

कांग्रेस का मतलब झूठ और बर्बादी की गारंटी दमोह मेरे परिवारजनों, आज देश के गरीब, दलित, ओबीसी, पिछड़े और आदिवासी...

प्रभु राम के होर्डिंग उतारने वालों को सत्ता नहीं सौंपी जा सकती : विष्णुदत्त शर्मा

कांग्रेस बाबर प्रेम की वजह से राम के अस्तित्व को नकारती रही है प्रत्येक बूथ पर भाजपा चुनाव लड रही...

मंत्री गोपाल राय बोले- सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद होगा लागू, दिल्ली में फिलहाल टली ऑड-ईवन योजना

नई दिल्ली दिल्ली सरकार ने बुधवार को कहा कि राजधानी में ऑड-ईवन योजना को सुप्रीम कोर्ट की समीक्षा के बाद...

जनहित पार्टी के मैदान में उतरने से भाजपा की सात हाईप्रोफाइल सीटों पर कार्यकर्ताओं का विशेष फोकस

भोपाल विधानसभा चुनाव में भाजपा और कांग्रेस अपनी- अपनी सरकार बनाने के लिए धुआंधार प्रचार अभियान में भले ही जुट...

मध्य प्रदेश के चुनाव में होगी उमा भारती की एंट्री, हिमालय जाने का प्लान किया कैंसिल

भोपाल आखिरकार पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती हिमालय जाने का प्रोग्राम कैंसल कर मध्य प्रदेश के चुनावी समर में प्रचार के...

बीजापुर : नक्सलियों के फरमान को करारा जवाब, कहा- वोट डालेंगे, लेकिन स्याही नहीं लगाएंगे

बीजापुर. नक्सली दहशत के बीच बस्तर के ग्रामीण मतदान केद्रों में जमकर मतदान किया। लोकतंत्र के त्योहार के बीच चर्चा...

आईसीसी टी20 विश्व कप क्वालीफायर से पहले जिम्बाब्वे में प्रशिक्षण लेगी युगांडा क्रिकेट टीम

कंपाला युगांडा क्रिकेट एसोसिएशन (यूसीए) ने पुष्टि की है कि राष्ट्रीय टीम आईसीसी टी20 विश्व कप क्वालीफायर से पहले जिम्बाब्वे...

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” सिनेमा एंड बियांड और नुक्कड़ कैफे द्वारा आयोजित “भारतीय सिनेमा में महिला लेखिकाओं एंव निर्देशकों का योगदान – एम.एल. नत्थानी कवि,लेखक, शिक्षाविद, भारतीय सिनेमा के लगभग 100 साल के इतिहास में महिला लेखिकाओं और निर्देशकों ने अपने कल्पनाशील विचारों एंव आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही यथार्थवादी धरातल पर पुरुष पात्रों के ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” को सिनेमा के सुनहरे पर्दे पर लगभग प्रत्येक दशक में अपनी अंतर्दृष्टि से रेखांकित किया है । अतीत से वर्तमान कालखंड में अनेक महिला फिल्मकारों ने सिनेमाई रुपहले पर्दे पर पुरानी सोच के रुढ़िवादी पुरुष पात्रों को नए परिवेश में आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही मानवीय मूल्यों के प्रति संवेदनशील, बुद्धिमान होने के साथ ही अनंत गहराईयों को शिद्दत के साथ जिंदगी को जिन्दादिली के साथ जीने के लिए प्रतिबद्ध है । यह सिनेमाई पर्दे पर महिला फिल्मकारों की नई सोच और सृजन के अद्भुत हस्ताक्षर हैं । भारतीय सिनेमा के शुरूआती कालखंड में महिला फिल्मकारों में साहसी एंव प्रतिभावान फातिमा बेगम और देविका रानी उल्लेखनीय नाम हैं । समय के साथ महिला फिल्मकारों की भूमिका का चित्रण भी निरंतर बदलता रहा है । वस्तुतः सिनेमा के माध्यम से समाज में तेजी से बदलते जीवन मूल्यों को ” पुरुष पात्रों ” को महिला फिल्मकारों ने अपने आधुनिक नजरिए एंव पैनी अंतर्दृष्टि से विवधता के नए आयाम स्थापित किए हैं । महिला फिल्मकारों के सृजनशील सशक्त हस्ताक्षर :- ************************ 1 फातिमा बेगम – बुलबुल ए परिसतान 2 देविका रानी – कर्मा 3 नंदिता दास – फिराक 4 दीपा मेहता – फायर 5 अरुणा राजे – रिहाई 6 कल्पना लाजमी – रूदाली 7 अर्पणा सेन – मिस्टर एंड मिसेज अय्यर 8 मीरा नायर – मानसून वेडिंग 9 गुरविंदर चड्डा – बेंड इट लाइक बेकहम 10 अनुशा रिजवी – पीपली लाईव 11 किरण राव – धोबी घाट 12 भावना तलवार – धरम 13 रीमा कागती – तलाश 14 रेवती – मित्र माई फ्रेंड 15 मेघना गुलजार – तलवार, राजी,छपाक 16 गोरी शिंदे – इंग्लिश विंगलिश 17 जोया अख्तर – लक बाय चांस, जिंदगी ना मिलेगी दोबारा,दिल धड़कने दो 18 फराह खान – ओम शांति ओम, मैं हूं ना 19 कोंकणा सेन शर्मा – अ डेथ इन द गंज 20 लीना यादव – दि एंड निष्कर्ष :- इस तरह से भारतीय सिनेमा का इतिहास महिला फिल्मकारों के सृजनशील और सशक्तिकरण के नित नई सोच और आधुनिक दृष्टिकोंण का बदलता हुआ प्रतिबिंब है । आज महिला फिल्मकारों ने ग्लोबल स्तर पर अच्छे कंटेंट राईटर के कारण सिनेमा और ओटीटी प्लेटफार्म पर भी इस डिजिटल युग में वैश्विक पहचान बनाई है । भारतीय सिनेमा में अब पुरुषों को लेकर नए दृष्टिकोंण और वैश्विक स्तर के कंटेंट राईटर निरंतर सक्रियता के साथ महिला फिल्मकारों ने समाज में क्रांतिकारी बदलाव लाने में आधुनिक तकनीक और विज्ञान के साथ ही नए ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” की सिनेमाई छबि को परिभाषित करने में कामयाब हुए हैं । सादर ।