ट्यूब इन्वेस्टमेंट 211 करोड़ रुपये की लागत से ग्रीनफील्ड प्रिसिजन स्टील ट्यूब विनिर्माण इकाई की करेगी स्थापना
ट्यूब इन्वेस्टमेंट 211 करोड़ रुपये की लागत से ग्रीनफील्ड प्रिसिजन स्टील ट्यूब विनिर्माण इकाई की करेगी स्थापना
चेन्नई
इंजीनियरिंग कंपनी ट्यूब इन्वेस्टमेंट ऑफ इंडिया लिमिटेड ने 211 करोड़ रुपये की लागत से एक ग्रीनफील्ड प्रिसिजन स्टील ट्यूब विनिर्माण सुविधा स्थापित करने की योजना बनाई है।
मुरुगप्पा समूह की स्टील ट्यूब निर्माण से जुड़ी कंपनी की ओर से मंगलवार को जारी एक बयान के अनुसार, देश के पश्चिमी हिस्सों में स्थापित होने वाली विनिर्माण इकाई को ”आंतरिक संसाधनों” के जरिए वित्त पोषित किया जाएगा।
बयान में कहा गया, ‘‘निदेशक मंडल ने 211 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत पर पश्चिमी भारत में एक ग्रीनफील्ड प्रिसिजन स्टील ट्यूब विनिर्माण सुविधा की स्थापना को मंजूरी दे दी है।”
इस बीच, ट्यूब इन्वेस्टमेंट्स ऑफ इंडिया का चालू वित्त वर्ष 2023-24 की जुलाई-सितंबर तिमाही में शुद्ध लाभ 181.44 करोड़ रुपये रहा।
कंपनी का पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में शुद्ध मुनाफा 142.46 करोड़ रुपये था।
कोलगेट-पामोलिव को आयकर अधिकारियों से 170 करोड़ रुपये का स्थानांतरण मूल्य निर्धारण आदेश मिला
नई दिल्ली
कोलगेट-पामोलिव (इंडिया) को आयकर अधिकारियों से 170 करोड़ रुपये का ‘ट्रांसफर प्राइसिंग ऑर्डर’ मिला है। इसमें ”कुछ” प्रकार के अंतरराष्ट्रीय लेनदेन की अनुमति नहीं दी गई है।
स्थानांतरण मूल्य निर्धारण आदेश वित्त वर्ष 2021-22 के लिए है।
स्थानांतरण मूल्य से तात्पर्य दो संबंधित संस्थाओं के बीच सीमा पार लेनदेन के मूल्य निर्धारण से है।
कोलगेट-पामोलिव (इंडिया) लिमिटेड ने शेयर बाजार को दी जानकारी में बताया कि कंपनी मूल्यांकन कार्यवाही पूरी होने का इंतजार कर रही है और इसे ”विवाद समाधान समिति” के समक्ष ले जाएगी।
कंपनी ने कहा, ‘‘कंपनी मसौदा मूल्यांकन कार्यवाही के पूरा होने का इंतजार कर रही है और इसके बाद विवाद समाधान समिति (डीआरपी) के समक्ष एक आवेदन किया जाएगा। ”
कर निर्धारण प्राधिकरण ने कंपनी के कुछ अंतरराष्ट्रीय लेनदेन की अनुमति नहीं दी है।
कोलगेट-पामोलिव (इंडिया) लिमिटेड ने कहा कि इस स्थानांतरण मूल्य निर्धारण आदेश से कंपनी की वित्त, संचालन या अन्य गतिविधियों पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
एलएंडटी को पश्चिम एशिया में 15,000 करोड़ रुपये से अधिक रुपये का मिला ठेका
नई दिल्ली
लार्सन एंड टुब्रो (एलएंडटी) को पश्चिम एशिया में 15,000 करोड़ रुपये से अधिक की एक बड़ी परियोजना का ठेका मिला है।
कंपनी 15,000 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं को ‘बड़ी’ (अल्ट्रा मेगा) श्रेणी में वर्गीकृत करती है।
लार्सन एंड टुब्रो (एलएंडटी) की ओर से जारी एक बयान के अनुसार, ‘‘लार्सन एंड टुब्रो (एलएंडटी) के हाइड्रोकार्बन व्यवसाय (एलएंडटी एनर्जी हाइड्रोकार्बन – एलटीईएच) को पश्चिम एशिया में प्रतिष्ठित ग्राहक से एक और ‘अल्ट्रा-मेगा’ परियोजना के लिए आशय पत्र मिला है।”
लार्सन एंड टुब्रो 23 अरब अमेरिकी डॉलर की भारतीय बहुराष्ट्रीय कंपनी है। यह दुनिया भर के 50 से अधिक देशों में सक्रिय है।