छत्तीसगढ़

आदर्श आचार संहिता के दौरान आबकारी विभाग द्वारा 33,084 लीटर शराब जप्त

रायपुर विधानसभा निर्वाचन, 2023 के परिप्रेक्ष्य में विशेष सचिव सह आयुक्त आबकारी महादेव कावरे द्वारा विगत चार दिवसों में आबकारी...

इजरायल से जंग में ईरान के सुप्रीम लीडर का हमास को झटका, ‘अपनी लड़ाई में हमें मत घसीटो…

नई दिल्ली इजरायल और हमास जंग को 40 दिन हो गए हैं. इजरायल पूरी ताकत से हमास पर ताबड़तोड़ हमले...

जापान, जर्मनी को पछाड़ 2027 तक दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होगा भारत: सीतारमण

नई दिल्ली वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भरोसा जताया है कि भारत 2027 तक जापान और जर्मनी को पछाड़कर दुनिया...

IND Vs NZ वर्ल्ड कप सेमीफाइनल 2023: फाइनल में पहुंचा भारत, न्यूजीलैंड को 70 रनों से हराया

मुंबई वनडे वर्ल्डकप 2023 के पहले सेमीफाइनल में भारत ने टॉस जीतकर न्यूजीलैंड के खिलाफ 397 रनों का स्कोर खड़ा...

जितना पैसा बीजेपी उद्योगपतियों को देती है, उतना ही पैसा कांग्रेस किसान, मजदूर को: राहुल

रायपुर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा, हमारी जहां भी सरकार है, कर्नाटक, छत्तीसगढ़, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश उधर...

CWC 23 : जीत की आदी ऑस्ट्रेलिया का सामना सेमीफाइनल में दक्षिण अफ्रीका से आज

कोलकाता एजबस्टन में लांस क्लूसनर और आकलैंड में एबी डिविलियर्स का निराशा में डूबा चेहरा शायद हर क्रिकेटप्रेमी को याद...

कांग्रेस ने मप्र, छत्तीसगढ़ चुनाव से दो दिन पहले पीएम-किसान योजना की किस्त जारी करने पर सवाल उठाए

नई दिल्ली  कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनावों से ठीक दो दिन पहले बुधवार को पीएम-किसान सम्मान...

योगी बोले – कुछ नहीं कर सकती तो कांग्रेस जैसे बोझ को ढोने का क्या मतलब?

जो कांग्रेस 55-60 सालों में नहीं कर सकी, डबल इंजन सरकार ने 9 सालों में कर दिया पन्ना/अशोकनगर सरकार बदलने...

चीन-भूटान की दोस्ती क्या गुल खिलाएगी, भारत ने अभी साधे रखी है चुप्पी

नईदिल्ली भूटान व चीन के बीच सौहार्दपूर्ण राजनयिक संबंधों की नई शुरुआत हुई है जिससे भारत तथा भूटान के बीच...

इजरायल के खिलाफ सुरक्षा परिषद में गिरे 4 प्रस्ताव, अब 5वां लाने की तैयारी

इजरायल इजरायल के खिलाफ संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) में अब तक 4 प्रस्ताव गिर चुके हैं। दरअसल आतंकी संगठन...

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” सिनेमा एंड बियांड और नुक्कड़ कैफे द्वारा आयोजित “भारतीय सिनेमा में महिला लेखिकाओं एंव निर्देशकों का योगदान – एम.एल. नत्थानी कवि,लेखक, शिक्षाविद, भारतीय सिनेमा के लगभग 100 साल के इतिहास में महिला लेखिकाओं और निर्देशकों ने अपने कल्पनाशील विचारों एंव आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही यथार्थवादी धरातल पर पुरुष पात्रों के ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” को सिनेमा के सुनहरे पर्दे पर लगभग प्रत्येक दशक में अपनी अंतर्दृष्टि से रेखांकित किया है । अतीत से वर्तमान कालखंड में अनेक महिला फिल्मकारों ने सिनेमाई रुपहले पर्दे पर पुरानी सोच के रुढ़िवादी पुरुष पात्रों को नए परिवेश में आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही मानवीय मूल्यों के प्रति संवेदनशील, बुद्धिमान होने के साथ ही अनंत गहराईयों को शिद्दत के साथ जिंदगी को जिन्दादिली के साथ जीने के लिए प्रतिबद्ध है । यह सिनेमाई पर्दे पर महिला फिल्मकारों की नई सोच और सृजन के अद्भुत हस्ताक्षर हैं । भारतीय सिनेमा के शुरूआती कालखंड में महिला फिल्मकारों में साहसी एंव प्रतिभावान फातिमा बेगम और देविका रानी उल्लेखनीय नाम हैं । समय के साथ महिला फिल्मकारों की भूमिका का चित्रण भी निरंतर बदलता रहा है । वस्तुतः सिनेमा के माध्यम से समाज में तेजी से बदलते जीवन मूल्यों को ” पुरुष पात्रों ” को महिला फिल्मकारों ने अपने आधुनिक नजरिए एंव पैनी अंतर्दृष्टि से विवधता के नए आयाम स्थापित किए हैं । महिला फिल्मकारों के सृजनशील सशक्त हस्ताक्षर :- ************************ 1 फातिमा बेगम – बुलबुल ए परिसतान 2 देविका रानी – कर्मा 3 नंदिता दास – फिराक 4 दीपा मेहता – फायर 5 अरुणा राजे – रिहाई 6 कल्पना लाजमी – रूदाली 7 अर्पणा सेन – मिस्टर एंड मिसेज अय्यर 8 मीरा नायर – मानसून वेडिंग 9 गुरविंदर चड्डा – बेंड इट लाइक बेकहम 10 अनुशा रिजवी – पीपली लाईव 11 किरण राव – धोबी घाट 12 भावना तलवार – धरम 13 रीमा कागती – तलाश 14 रेवती – मित्र माई फ्रेंड 15 मेघना गुलजार – तलवार, राजी,छपाक 16 गोरी शिंदे – इंग्लिश विंगलिश 17 जोया अख्तर – लक बाय चांस, जिंदगी ना मिलेगी दोबारा,दिल धड़कने दो 18 फराह खान – ओम शांति ओम, मैं हूं ना 19 कोंकणा सेन शर्मा – अ डेथ इन द गंज 20 लीना यादव – दि एंड निष्कर्ष :- इस तरह से भारतीय सिनेमा का इतिहास महिला फिल्मकारों के सृजनशील और सशक्तिकरण के नित नई सोच और आधुनिक दृष्टिकोंण का बदलता हुआ प्रतिबिंब है । आज महिला फिल्मकारों ने ग्लोबल स्तर पर अच्छे कंटेंट राईटर के कारण सिनेमा और ओटीटी प्लेटफार्म पर भी इस डिजिटल युग में वैश्विक पहचान बनाई है । भारतीय सिनेमा में अब पुरुषों को लेकर नए दृष्टिकोंण और वैश्विक स्तर के कंटेंट राईटर निरंतर सक्रियता के साथ महिला फिल्मकारों ने समाज में क्रांतिकारी बदलाव लाने में आधुनिक तकनीक और विज्ञान के साथ ही नए ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” की सिनेमाई छबि को परिभाषित करने में कामयाब हुए हैं । सादर ।