छत्तीसगढ़

ग्राम खुडसा में घुसा 20-25 हाँथियो का झुण्ड

जिला संवाददाता - उरेंद्र कुमार साहू फिंगेश्वर | जनपद पंचायत फिंगेश्वर के ग्राम पंचायत परसदा कला के आश्रित ग्राम खुडसा...

सोसल डिस्टेनसिंग का पालन कर “ग्वाला” ने मनाया स्वतन्त्रता दिवस और सम्मानित हुवे मीडिया साथी पुलिस बंधु और डॉक्टर्स..

बता दे की ग्वाला रेस्टोरेंट अपने शुद्धता के लिए जाना जाता है। बहुत ही कम समय मे अपनी खास जगह...

पुलिस संगिनी सम्मान , योजना के तहत आज पाण्डुका थाना क्षेत्र के बहनो को दिया गया सम्मानित

जिला संवाददाता - उरेंद्र कुमार साहू गरियाबंद | पाण्डुका थाना में आज पुलिस अधीक्षक श्री बीo आरo पटेल तथा अतरिक्त...

स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर जनपद सदस्य दीपक साहू ने ध्वजारोहण किया

जिला संवाददाता - उरेंद्र कुमार साहू फिंगेश्वर | ग्राम पंचायत लोहरसी शिशु मंदिर में जनपद सदस्य श्री दीपक साहू ने...

ग्वाला रेस्टोरेंट द्वारा 15 अगस्त के उपलक्ष में मीडिया साथी के अलावा पुलिस और डॉक्टर साथियो को ससम्मान निः शुल्क स्वल्पाहार

… दिनांक 15 अगस्त 2020 को सुबह 8 बजे से शाम 6 बजे तक निः शुल्क स्वल्पाहार का आयोजन ग्वाला...

थाना राजिम की बड़ी कामयाबी , महिला के घर में घुसकर छेड़छाड़ करने वाला आरोपी गिरफ्तार

जिला संवाददाता - उरेंद्र कुमार साहू राजिम | ग्राम जेंजरा में दिनक 05/08/2020 के शाम करीब 04:00 बजे धनसिंग साहू...

भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम के जनक डॉ विक्रम साराभाई के 101वीं जयंती पर याद किया गया।

भारत का मानना ​​है कि अंतरिक्ष की सीमा तक पहुंचने में वैज्ञानिकों ने अपने योगदान दिया है । उनमें से...

शराब के नशे में धुत तेज रफ्तार मोटर सायकल सवार युवकों ने तीन लोगों को ठोका …. .ठोकते हुए लोहे के पाइप से टकराया, गंभीर

कोपरा नवापारा- गुरुवार शाम लगभग 5 बजे स्थानीय वन डिपो के मोड़ के पास नशे में धुत युवकों ने अपने...

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” सिनेमा एंड बियांड और नुक्कड़ कैफे द्वारा आयोजित “भारतीय सिनेमा में महिला लेखिकाओं एंव निर्देशकों का योगदान – एम.एल. नत्थानी कवि,लेखक, शिक्षाविद, भारतीय सिनेमा के लगभग 100 साल के इतिहास में महिला लेखिकाओं और निर्देशकों ने अपने कल्पनाशील विचारों एंव आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही यथार्थवादी धरातल पर पुरुष पात्रों के ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” को सिनेमा के सुनहरे पर्दे पर लगभग प्रत्येक दशक में अपनी अंतर्दृष्टि से रेखांकित किया है । अतीत से वर्तमान कालखंड में अनेक महिला फिल्मकारों ने सिनेमाई रुपहले पर्दे पर पुरानी सोच के रुढ़िवादी पुरुष पात्रों को नए परिवेश में आधुनिक दृष्टिकोंण के साथ ही मानवीय मूल्यों के प्रति संवेदनशील, बुद्धिमान होने के साथ ही अनंत गहराईयों को शिद्दत के साथ जिंदगी को जिन्दादिली के साथ जीने के लिए प्रतिबद्ध है । यह सिनेमाई पर्दे पर महिला फिल्मकारों की नई सोच और सृजन के अद्भुत हस्ताक्षर हैं । भारतीय सिनेमा के शुरूआती कालखंड में महिला फिल्मकारों में साहसी एंव प्रतिभावान फातिमा बेगम और देविका रानी उल्लेखनीय नाम हैं । समय के साथ महिला फिल्मकारों की भूमिका का चित्रण भी निरंतर बदलता रहा है । वस्तुतः सिनेमा के माध्यम से समाज में तेजी से बदलते जीवन मूल्यों को ” पुरुष पात्रों ” को महिला फिल्मकारों ने अपने आधुनिक नजरिए एंव पैनी अंतर्दृष्टि से विवधता के नए आयाम स्थापित किए हैं । महिला फिल्मकारों के सृजनशील सशक्त हस्ताक्षर :- ************************ 1 फातिमा बेगम – बुलबुल ए परिसतान 2 देविका रानी – कर्मा 3 नंदिता दास – फिराक 4 दीपा मेहता – फायर 5 अरुणा राजे – रिहाई 6 कल्पना लाजमी – रूदाली 7 अर्पणा सेन – मिस्टर एंड मिसेज अय्यर 8 मीरा नायर – मानसून वेडिंग 9 गुरविंदर चड्डा – बेंड इट लाइक बेकहम 10 अनुशा रिजवी – पीपली लाईव 11 किरण राव – धोबी घाट 12 भावना तलवार – धरम 13 रीमा कागती – तलाश 14 रेवती – मित्र माई फ्रेंड 15 मेघना गुलजार – तलवार, राजी,छपाक 16 गोरी शिंदे – इंग्लिश विंगलिश 17 जोया अख्तर – लक बाय चांस, जिंदगी ना मिलेगी दोबारा,दिल धड़कने दो 18 फराह खान – ओम शांति ओम, मैं हूं ना 19 कोंकणा सेन शर्मा – अ डेथ इन द गंज 20 लीना यादव – दि एंड निष्कर्ष :- इस तरह से भारतीय सिनेमा का इतिहास महिला फिल्मकारों के सृजनशील और सशक्तिकरण के नित नई सोच और आधुनिक दृष्टिकोंण का बदलता हुआ प्रतिबिंब है । आज महिला फिल्मकारों ने ग्लोबल स्तर पर अच्छे कंटेंट राईटर के कारण सिनेमा और ओटीटी प्लेटफार्म पर भी इस डिजिटल युग में वैश्विक पहचान बनाई है । भारतीय सिनेमा में अब पुरुषों को लेकर नए दृष्टिकोंण और वैश्विक स्तर के कंटेंट राईटर निरंतर सक्रियता के साथ महिला फिल्मकारों ने समाज में क्रांतिकारी बदलाव लाने में आधुनिक तकनीक और विज्ञान के साथ ही नए ” संवेदनशील और साहसी पुरुषत्व ” की सिनेमाई छबि को परिभाषित करने में कामयाब हुए हैं । सादर ।